मलयालम सिनेमा की सच्ची घटना पर आधारित इस बेस्ट सर्वाइवल एडवेंचर फिल्म ने थिएटर में 75 दिन पूरे किए
"आडुजीवितम" ने थिएटर में 75 दिनों का सफर पूरा किया: 16 साल की मेहनत का फल
साउथ की फिल्म "आडुजीवितम" को बनने में 16 साल लगे, और इसने रिलीज के बाद से अपने बजट का दोगुना कमा लिया है और अभी भी थिएटर में डटकर खड़ी है।
इस फिल्म की कहानी सच्ची घटना पर आधारित है जो एक किताब मलयालम साहित्य के सबसे लोकप्रिय उपन्यास "आडुजीवितम" से ली हुई है।
फिल्म के मुख्य एक्टर पृथ्वीराज सुकुमारन ने अपने किरदार को जीवंत करने के लिए बहुत मेहनत की। जब यह फिल्म सिनेमाघरों में रिलीज हुई, तो इसे खूब सराहा गया और इसके निर्देशन व अभिनय की तारीफ हुई।
यह मलयालम सिनेमा की फिल्म है और इसे 28 मार्च को सिनेमाघरों में रिलीज किया गया था। 75 दिन बाद भी, इसे देखने का सिलसिला जारी है।
फिल्म के लीड एक्टर पृथ्वीराज सुकुमारन ने इस सफलता की जानकारी अपने इंस्टाग्राम अकाउंट पर दी। और कहा कि इस कहानी की सफल स्क्रीनिंग के 75वें दिन का जश्न मनाएं।
आजकल सभी फिल्में एक या दो हप्तो में ही थिएटर में सिमट जाती हैं वही पर मलयालम फिल्म "आडुजीवितम" का 75 दिन तक चलना बड़ी उपलब्धि है।
इसमें हॉलीवुड अभिनेता जिमी ज्यां-लुई के साथ अमला पॉल, गोकुल और तालिब अल बलुशी व रिक एबी जैसे कलाकार भी नजर आए।
फिल्म को डिज्नी प्लस हॉटस्टार पर रिलीज किया जाना है, लेकिन इसकी तारीख अभी घोषित नहीं की गई है।
82 करोड़ रुपये के बजट में बनी "आडुजीवितम" ने बॉक्स ऑफिस पर 160 करोड़ रुपये की कमाई की है, जिससे यह बजट का दोगुना कमा चुकी है।